गडचांदूर ट्रैफिक विभाग में कथित वसूली का खेल? प्रर_शांत की बढ़ती संपत्ति पर उठ रहे सवाल

52

गडचांदूर ट्रैफिक विभाग में कथित वसूली का खेल? प्रर_शांत की बढ़ती संपत्ति पर उठ रहे सवाल

चंद्रपुर/महाराष्ट्र

दि. 23 नवंबर 2025

संवाददाता:– अनुप यादव ग्लोबल महाराष्ट्र & ग्लोबल मिशन न्यूज 

चंद्रपुर / गडचांदूर – चंद्रपुर जिले के गडचांदूर शहर में ट्रैफिक विभाग बीते कुछ समय से चर्चा का केंद्र बना हुआ है। शहर से गुजरने वाले वाहनों से कथित तौर पर की जा रही अघोषित वसूली, और उसके चलते कुछ कर्मचारियों की तेजी से बढ़ती आर्थिक प्रगति को लेकर सवाल उठने शुरू हो गए हैं। स्थानीय सूत्रों का दावा है कि रोज़ाना लाखों की उगाही के आरोपों ने पूरे क्षेत्र में गंभीर चिंताएँ खड़ी की हैं।

 

तेज़ी से बढ़ी कथित संपत्ति पर सवाल

सूत्रों का कहना है कि गडचांदूर ट्रैफिक विभाग में तैनात हेड कॉन्स्टेबल (प्रर_शांत) के बारे में शहर में कई तरह की चर्चाएँ हैं। आरोप है कि बेहद कम समय में उन्होंने लाखों रुपये की संपत्ति अर्जित की है।
सूत्र बताते हैं कि बल्लारपुर क्षेत्र में कथित रूप से एक आलीशान फ्लैट और कोरपना इलाके में लाखों की कीमत की कृषि भूमि होने की बात भी सामने आई है। हालांकि इन दावों की अभी आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है।

 

कैसे होती है कथित वसूली?

गडचांदूर जिला सीमा के अंतिम छोर पर स्थित है और तेलंगाना सीमा कुछ ही किलोमीटर की दूरी पर है। ऐसे में प्रतिदिन हजारों वाहन इस मार्ग से गुजरते हैं।
सूत्रों का यह भी दावा है कि बाहरी राज्यों से आने वाले वाहनों को कथित रूप से “मंथली पास” देने का प्रचलन वर्षों से जारी है, जिससे हर माह लाखों रुपये तक की वसूली की संभावना व्यक्त की जाती है।

इसी तरह गडचांदूर के सीमेंट कारखानों से जुड़े ट्रांसपोर्टरों से भी नियमित वसूली की चर्चा स्थानीय स्तर पर अक्सर सुनाई देती रही है।

 

गौवंश व तंबाकू तस्करी पर कार्रवाई न होने के सवाल

चौंकाने वाली बात यह है कि स्थानीय नागरिकों और सूत्रों के अनुसार शहर से गुज़रने वाले कई संदिग्ध गौवंश तस्करी के वाहनों पर कभी कोई बड़ी कार्रवाई नहीं हुई।
सूत्रों का आरोप है कि इन वाहनों को कथित रूप से “मंथली सेटिंग” दी जाती है। इसके अलावा तेलंगाना से आने वाली तंबाकू खेपों और गडचांदूर के तंबाकू कारोबारियों के साथ कथित सांठगांठ की चर्चा भी तेज़ है।

 

शिकायतें उच्च अधिकारियों तक पहुंचने की तैयारी

जानकारी यह भी मिल रही है कि संबंधित पुलिसकर्मी के खिलाफ शिकायतें जिले के वरिष्ठ अधिकारियों तक पहुंचने की प्रक्रिया में हैं।
स्थानीय नागरिक यह भी सवाल उठा रहे हैं कि इतना बड़ा वसूली तंत्र होने की चर्चाओं के बावजूद अब तक एंटी करप्शन ब्यूरो (ACB) ने कोई कार्रवाई क्यों नहीं की?
कुछ महीने पहले कथित वसूली का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद भी विभागीय कार्रवाई न होने पर लोगों में असंतोष की भावना बढ़ी है।

 

जनता के मन में उठ रहे सवाल

  • क्या गडचांदूर में कथित वसूली का सिलसिला यूँ ही चलता रहेगा?
  • गौवंश तस्करों और संदिग्ध तंबाकू तस्करी पर कब होगी कड़ी कार्रवाई?
  • स्थानीय ट्रांसपोर्टरों को इस कथित वसूली प्रकरण से कब राहत मिलेगी?
  • क्या उच्च स्तर पर कोई बड़ी जांच शुरू होगी?

(महत्वपूर्ण नोट)

यह समाचार स्थानीय सूत्रों से प्राप्त जानकारी के आधार पर रिपोर्ट किया गया है।
ग्लोबल महाराष्ट्र न्यूज़ किसी भी प्रकार के दावों या आरोपों की स्वतंत्र पुष्टि नहीं करता।
इस खबर की सामग्री का पुनर्प्रकाशन प्रतिबंधित है।

आने वाले भाग में पुरी वसुली के खेल का विडियो न्यूज चैनल पर पर्दा फाश किया जाएगा।